Notes For All Chapters – विज्ञान Class 7
परिचय
- प्रेरणा को दौड़ प्रतियोगिताओं में रुचि है। वह 100 मीटर दौड़ में जनपद स्तर पर विजेता बन चुकी है और अब राज्य स्तर की प्रतियोगिता की तैयारी कर रही है।
- उसे आश्चर्य होता है कि आधुनिक तकनीक से दो तेज धावकों में विजेता का पता लगाना संभव है, भले ही वे एक साथ फिनिश लाइन पार करते दिखें।
- स्कूल में समय मापने के लिए विराम घड़ी का उपयोग होता है। प्रेरणा ने अपनी माँ को कलाई घड़ी, बहन को मोबाइल फोन, और दृष्टिबाधित चाचा को ब्रेल घड़ी और बोलने वाली घड़ी का उपयोग करते देखा है।
- प्राचीन काल में समय मापने के आधुनिक उपकरण नहीं थे, जिसके बारे में प्रेरणा जानना चाहती है।
8.1 समय का मापन
प्राचीन समय में लोग समय मापने के लिए प्रकृति की घटनाओं का उपयोग करते थे, जैसे:
- सूर्य का उदय और अस्त: एक दिन को परिभाषित करता था।
- चंद्रमा की कलाएँ: महीनों का निर्धारण।
- ऋतुओं का परिवर्तन: वर्षों का निर्धारण।
लोगों ने पंचांग (कैलेंडर) बनाए और दिन के छोटे समयांतराल मापने के लिए यंत्र विकसित किए, जैसे:
- धूप घड़ी: सूर्य की परछाई की स्थिति से समय मापा जाता था।
- जल घड़ी: पानी के प्रवाह से समय मापा जाता था।
- निष्क्रमण प्रकार: पानी पात्र से बाहर बहता था, और अंकन से समय मापा जाता था।
- प्लवमान पात्र प्रकार: छेद वाला कटोरा पानी में तैरता था, पानी भरने पर डूब जाता था।
- रेत घड़ी: रेत के एक बल्ब से दूसरे में बहने से समय मापा जाता था।
- मोमबत्ती घड़ी: मोमबत्ती पर अंकन से जलने का समय मापा जाता था।
रोचक तथ्य:
- जयपुर के जंतर-मंतर में बनी सम्राट यंत्र विश्व की सबसे बड़ी धूप घड़ी है। यह 27 मीटर ऊँची है और छाया हर सेकंड में 1 मिमी चलती है।
- प्राचीन भारत में कौटिल्य के अर्थशास्त्र और बराह मिहिर ने छाया और जल घड़ियों का उल्लेख किया।
- घटिका यंत्र (प्लवमान जल घड़ी) का उपयोग बौद्ध मठों, राजमहलों और नगरों में समय मापने के लिए होता था।
क्रियाकलाप 8.1: जल घड़ी बनाना
- सामग्री: 1/2 लीटर की पारदर्शी प्लास्टिक बोतल, ढक्कन, ड्राइंग पिन, स्याही/रंग।
- प्रक्रिया:
- बोतल को बीच से काटकर दो हिस्सों में बाँटें।
- ढक्कन में छोटा छेद करें।
- बोतल का ऊपरी हिस्सा उल्टा करके निचले हिस्से पर रखें।
- ऊपरी हिस्से में रंग मिला पानी भरें।
- पानी बूँद-बूँद नीचे गिरेगा। हर मिनट जल स्तर अंकित करें।
- उपयोग: पानी के स्तर के आधार पर समय मापा जा सकता है।
8.1.1 सरल लोलक
- परिभाषा: एक छोटी धातु की गेंद (गोलक) को धागे से दृढ़ आधार पर लटकाने से बना यंत्र।
- दोलन: गोलक को हल्का विस्थापित करने पर यह दोलन करता है (माध्य स्थिति से एक चरम स्थिति, फिर दूसरी चरम स्थिति और वापस माध्य स्थिति तक)।
- दोलनकाल: एक दोलन पूरा करने में लिया गया समय।
- गुण: एक ही लंबाई के लोलक का दोलनकाल एक स्थान पर स्थिर रहता है। यह द्रव्यमान पर निर्भर नहीं करता, केवल लंबाई पर।
- इतिहास:
- गैलीलियो ने लोलक के दोलनकाल की खोज की, जब उन्होंने चर्च में लटके लैंप का दोलन देखा।
- क्रिश्चियन हाइगेन्स ने 1656 में लोलक घड़ी का आविष्कार किया।
क्रियाकलाप 8.2: लोलक का दोलनकाल मापना
- सामग्री: 150 सेमी डोरी, भारी गोलक/पत्थर, विराम घड़ी, मापक।
- प्रक्रिया:
- डोरी के एक सिरे पर गोलक बाँधें, दूसरे सिरे को आधार से बाँधें (लंबाई 100 सेमी)।
- गोलक को हल्का विस्थापित कर छोड़ें, दोलन शुरू होगा।
- 10 दोलनों का समय मापें और तालिका में लिखें।
- समय को 10 से विभाजित कर दोलनकाल निकालें।
- निष्कर्ष: एक ही लंबाई के लोलक का दोलनकाल लगभग समान रहता है।
8.1.2 समय का SI मात्रक
- सेकंड (s): समय का SI मात्रक।
- अन्य मात्रक:
- 60 सेकंड = 1 मिनट (min)
- 60 मिनट = 1 घंटा (h)
- नियम:
- मात्रक छोटे अक्षरों में लिखे जाते हैं (वाक्य शुरू होने पर पहला अक्षर बड़ा हो सकता है)।
- प्रतीक (s, min, h) छोटे अक्षरों में, बिना पूर्ण विराम के।
- संख्या और मात्रक के बीच एक अक्षर की जगह छोड़ें।
- रोचक तथ्य: घटिका (24 मिनट) प्राचीन भारत में समय का मानक मात्रक था।
क्रियाकलाप 8.3: दीवार घड़ी से समय मापन
- दीवार घड़ी से सबसे छोटा समय अंतराल 1 सेकंड मापा जा सकता है।
8.2 धीमा या तेज
- तुलना: जो धावक समान समय में अधिक दूरी तय करता है, वह तेज है।
- उदाहरण: 100 मीटर दौड़ में, जो धावक सबसे आगे है, वह सबसे तेज है।
8.3 चाल
- परिभाषा: इकाई समय (सेकंड, मिनट, घंटा) में चली गई दूरी को चाल कहते हैं।
- सूत्र: चाल = कुल दूरी ÷ कुल समय
- SI मात्रक: मीटर/सेकंड (m/s)
- अन्य मात्रक: किलोमीटर/घंटा (km/h)
- उदाहरण 8.1:
- स्वाति का स्कूल 3.6 किमी दूर है, वह 15 मिनट में साइकिल से पहुँचती है।
- चाल = (3.6 × 1000) ÷ (15 × 60) = 4 m/s
क्रियाकलाप 8.4: रेलगाड़ी की चाल
- रेलवे समय सारणी से स्टेशनों के बीच दूरी और समय निकालें।
- चाल = दूरी ÷ समय
- विभिन्न रेलगाड़ियों की चाल की तुलना करें।
8.3.1 चाल, दूरी और समय में संबंध
- चाल = दूरी ÷ समय
- दूरी = चाल × समय
- समय = दूरी ÷ चाल
- उदाहरण 8.2:
- बस 50 km/h से 2 घंटे चलती है।
- दूरी = 50 × 2 = 100 किमी
- उदाहरण 8.3:
- रेलगाड़ी 90 km/h से 360 किमी चलती है।
- समय = 360 ÷ 90 = 4 घंटे
8.4 एकसमान और असमान रेखीय गति
- रेखीय गति: वस्तु का सरल रेखा में चलना।
- एकसमान रेखीय गति: समान समय में समान दूरी तय करना (जैसे रेलगाड़ी का ख से ग तक चलना)।
- असमान रेखीय गति: समान समय में अलग-अलग दूरी तय करना (जैसे रेलगाड़ी का क से ख या ग से घ तक चलना)।
- उदाहरण (तालिका 8.3):
- रेलगाड़ी X: समान समय में 20 किमी (एकसमान गति)।
- रेलगाड़ी Y: अलग-अलग दूरी (असमान गति)।
संक्षेप
- दोलनकाल: लोलक का एक दोलन पूरा करने का समय, जो लंबाई पर निर्भर करता है।
- समय का SI मात्रक: सेकंड (s)।
- चाल: कुल दूरी ÷ कुल समय।
- एकसमान गति: समान समय में समान दूरी।
- असमान गति: समान समय में अलग-अलग दूरी।
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