निर्धनता: एक चुनौती
Short Questions & Answers
प्रश्न 1: निर्धनता रेखा क्या है?
 उत्तर: निर्धनता रेखा वह न्यूनतम आय या उपभोग स्तर है, जिसके नीचे कोई व्यक्ति अपनी मूल आवश्यकताओं की पूर्ति नहीं कर सकता।
प्रश्न 2: भारत में ग्रामीण क्षेत्रों के लिए प्रति व्यक्ति कैलोरी आवश्यकता कितनी मानी गई है?
 उत्तर: ग्रामीण क्षेत्रों के लिए 2400 कैलोरी प्रतिव्यक्ति प्रतिदिन की आवश्यकता मानी गई है।
प्रश्न 3: शहरी क्षेत्रों में निर्धनता रेखा की सीमा 2011-12 में कितनी थी?
 उत्तर: शहरी क्षेत्रों में निर्धनता रेखा 1000 रुपये प्रतिमाह निर्धारित की गई थी।
प्रश्न 4: सामाजिक अपवर्जन से आप क्या समझते हैं?
 उत्तर: सामाजिक अपवर्जन वह स्थिति है जब कुछ लोग समाज के अवसरों और सुविधाओं से वंचित रह जाते हैं।
प्रश्न 5: असुरक्षा किसे कहा जाता है?
 उत्तर: असुरक्षा वह स्थिति है जिसमें किसी व्यक्ति या समुदाय के भविष्य में निर्धन बने रहने की संभावना अधिक होती है।
प्रश्न 6: मनरेगा का मुख्य उद्देश्य क्या है?
 उत्तर: मनरेगा का उद्देश्य प्रत्येक ग्रामीण परिवार को वर्ष में कम से कम 100 दिनों का मजदूरी रोजगार उपलब्ध कराना है।
प्रश्न 7: वैश्विक निर्धनता का मानक क्या है?
 उत्तर: विश्व बैंक के अनुसार प्रतिदिन $1.9 (2011 PPP) से कम आय पर जीवनयापन करना वैश्विक निर्धनता का मानक है।
प्रश्न 8: निर्धनता के दो उदाहरण कौन-से हैं?
 उत्तर: ग्रामीण निर्धनता का उदाहरण लक्खा सिंह और शहरी निर्धनता का उदाहरण रामसरन है।
प्रश्न 9: भारत में निर्धनता की दर 2011-12 में कितनी थी?
 उत्तर: 2011-12 में निर्धनता दर 22 प्रतिशत थी।
प्रश्न 10: अनुसूचित जनजाति परिवारों में निर्धनता का प्रतिशत कितना था?
 उत्तर: अनुसूचित जनजाति परिवारों में लगभग 43 प्रतिशत लोग निर्धनता रेखा के नीचे थे।
Long Questions & Answers
प्रश्न 1: भारत में निर्धनता रेखा का निर्धारण कैसे किया जाता है?
 उत्तर: भारत में निर्धनता रेखा का निर्धारण व्यक्ति की न्यूनतम आवश्यकताओं — जैसे भोजन, वस्त्र, ईंधन, शिक्षा और स्वास्थ्य — पर आधारित है। भोजन की आवश्यकता के लिए ग्रामीण क्षेत्रों में 2400 और शहरी क्षेत्रों में 2100 कैलोरी प्रतिदिन की आवश्यकता मानी गई है। इन आवश्यकताओं को रुपये में बदलकर निर्धनता रेखा तय की जाती है। 2011-12 में यह ग्रामीण क्षेत्रों के लिए 816 रुपये और शहरी क्षेत्रों के लिए 1000 रुपये प्रतिमाह थी।
प्रश्न 2: निर्धनता के प्रमुख कारणों की व्याख्या कीजिए।
 उत्तर: निर्धनता के कई कारण हैं –
- औपनिवेशिक काल में धीमा आर्थिक विकास,
 - जनसंख्या वृद्धि की उच्च दर,
 - संसाधनों का असमान वितरण,
 - बेरोजगारी और अल्परोजगारी,
 - भूमि सुधारों का कमजोर कार्यान्वयन,
 - सामाजिक और सांस्कृतिक बाधाएँ जैसे जाति भेदभाव,
 - ऋणग्रस्तता।
इन सबने निर्धनता को और गहराया है। 
प्रश्न 3: भारत में निर्धनता में राज्यवार असमानताओं की चर्चा कीजिए।
 उत्तर: भारत में निर्धनता सभी राज्यों में समान नहीं है। बिहार (33.7%), ओडिशा (32.6%), मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और असम में निर्धनता की दर अधिक है। वहीं, केरल, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र और पश्चिम बंगाल में निर्धनता में उल्लेखनीय कमी आई है। पंजाब और हरियाणा ने कृषि विकास के कारण निर्धनता घटाई है।
प्रश्न 4: वैश्विक निर्धनता की प्रवृत्तियों पर प्रकाश डालिए।
 उत्तर: विश्व स्तर पर अत्यधिक निर्धनता 1990 के 36% से घटकर 2015 में 10% रह गई। चीन और दक्षिण-पूर्व एशिया में तीव्र आर्थिक विकास से निर्धनता बहुत घटी। दक्षिण एशिया में 2005 में निर्धनता 34% से घटकर 2014 में 15.2% रह गई। अफ्रीका में अभी भी निर्धनता अधिक है, जबकि लैटिन अमेरिका में इसमें कमी आई है।
प्रश्न 5: निर्धनता के सामाजिक आयामों को समझाइए।
 उत्तर: निर्धनता केवल आय की कमी नहीं है, बल्कि इसमें निरक्षरता, कुपोषण, स्वास्थ्य सेवाओं की कमी, स्वच्छ जल और स्वच्छता का अभाव, सामाजिक अपवर्जन और असुरक्षा भी शामिल हैं। निर्धनता का अर्थ है असहायता की स्थिति में जीवन व्यतीत करना।
प्रश्न 6: निर्धनता उन्मूलन की वर्तमान सरकारी रणनीति क्या है?
 उत्तर: सरकार की रणनीति दो भागों में है—
- आर्थिक संवृद्धि को प्रोत्साहन: जिससे रोजगार और आय बढ़े।
 - लक्षित निर्धनता-निरोधी कार्यक्रम: जैसे मनरेगा, स्वर्ण जयंती ग्राम स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री रोजगार योजना, अंत्योदय अन्न योजना आदि।
इनका उद्देश्य निर्धनों को रोजगार, शिक्षा, स्वास्थ्य और खाद्य सुरक्षा देना है। 
प्रश्न 7: सामाजिक अपवर्जन और असुरक्षा में क्या अंतर है?
 उत्तर: सामाजिक अपवर्जन में व्यक्ति समाज के अवसरों और संसाधनों से वंचित रहता है, जबकि असुरक्षा में व्यक्ति के भविष्य में निर्धन बने रहने की संभावना अधिक होती है। सामाजिक अपवर्जन सामाजिक असमानता का परिणाम है, जबकि असुरक्षा आर्थिक और प्राकृतिक कारणों से उत्पन्न होती है।
प्रश्न 8: मनरेगा की मुख्य विशेषताएँ बताइए।
 उत्तर:
- प्रत्येक ग्रामीण परिवार को 100 दिन का मजदूरी रोजगार।
 - एक-तिहाई रोजगार महिलाओं के लिए आरक्षित।
 - पर्यावरणीय स्थायित्व हेतु जल संरक्षण और वृक्षारोपण जैसे कार्य।
 - रोजगार न मिलने पर बेरोजगारी भत्ता।
 - कार्यान्वयन के लिए केंद्रीय और राज्य स्तर पर गारंटी कोष की स्थापना।
 
प्रश्न 9: मानव निर्धनता से आप क्या समझते हैं?
 उत्तर: मानव निर्धनता का अर्थ केवल आय की कमी नहीं है, बल्कि इसमें शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा, रोजगार की सुरक्षा, आत्मसम्मान, लैंगिक समानता और सामाजिक न्याय की कमी भी शामिल है। यह जीवन के सभी पहलुओं में अभाव की स्थिति है।
प्रश्न 10: भारत में निर्धनता से जुड़ी भावी चुनौतियों पर चर्चा कीजिए।
 उत्तर: भारत में निर्धनता में गिरावट के बावजूद कई चुनौतियाँ बनी हुई हैं —
- ग्रामीण-शहरी और राज्यवार असमानता,
 - महिलाओं, बच्चों और कमजोर वर्गों की स्थिति,
 - स्वास्थ्य, शिक्षा और रोजगार सुरक्षा की कमी,
 - सामाजिक भेदभाव।
भविष्य में उच्च आर्थिक संवृद्धि, जनसंख्या नियंत्रण, महिला सशक्तीकरण और शिक्षा के विस्तार से इन चुनौतियों को कम किया जा सकता है। 

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