Short Questions Answer
माखनलाल चतुर्वेदी का जन्म कब और कहाँ हुआ था?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी का जन्म सन् 1889 में मध्य प्रदेश के होशंगाबाद जिले के बाबई गाँव में हुआ।
माखनलाल चतुर्वेदी ने किस उम्र में शिक्षक का कार्य शुरू किया?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी ने 16 वर्ष की उम्र में शिक्षक का कार्य शुरू किया।
माखनलाल चतुर्वेदी ने किन पत्रिकाओं का संपादन किया?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी ने प्रभा, कर्मवीर और प्रताप पत्रिकाओं का संपादन किया।
माखनलाल चतुर्वेदी का निधन कब हुआ?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी का निधन सन् 1968 में हुआ।
माखनलाल चतुर्वेदी की प्रमुख कृतियों के नाम बताइए।
उत्तर: हिम किरीटनी, साहित्य देवता, हिम तरंगिनी, वेणु लो गूँजे धरा उनकी प्रमुख कृतियाँ हैं।
माखनलाल चतुर्वेदी को कौन-से पुरस्कारों से सम्मानित किया गया?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी को पद्मभूषण और साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
माखनलाल चतुर्वेदी की रचनाओं की मुख्य विशेषता क्या है?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी की रचनाएँ राष्ट्रीय भावना, स्वतंत्रता की चेतना और त्याग-बलिदान की भावना से युक्त हैं।
कैदी और कोकिला कविता किसके शोषण का विश्लेषण करती है?
उत्तर: कैदी और कोकिला कविता ब्रितानी उपनिवेशवाद के शोषण तंत्र का विश्लेषण करती है।
कवि ने कोयल से क्या पूछा है?
उत्तर: कवि ने कोयल से पूछा है कि वह क्या गाती है, क्यों चीखी, और किसका संदेश लाती है।
कवि को कोयल की चीख से क्या अंदेशा हुआ?
उत्तर: कवि को अंदेशा हुआ कि कोयल पूरे देश को एक कारागार के रूप में देखने लगी है।
Long Questions Answer
माखनलाल चतुर्वेदी के जीवन और उनके कार्यों के बारे में बताइए।
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी का जन्म मध्य प्रदेश के होशंगाबाद जिले के बाबई गाँव में सन् 1889 में हुआ। मात्र 16 वर्ष की अवस्था में वे शिक्षक बने। बाद में अध्यापन कार्य छोड़कर उन्होंने प्रभा पत्रिका का संपादन शुरू किया। वे देशभक्त कवि एवं प्रखर पत्रकार थे। उन्होंने कर्मवीर और प्रताप का भी संपादन किया। सन् 1968 में उनका देहांत हो गया। हिम किरीटनी, साहित्य देवता, हिम तरंगिनी, वेणु लो गूँजे धरा उनकी प्रमुख कृतियाँ हैं। उन्हें पद्मभूषण एवं साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।
माखनलाल चतुर्वेदी की रचनाओं की विशेषताएँ क्या हैं?
उत्तर: माखनलाल चतुर्वेदी की रचनाएँ राष्ट्रीय भावना से युक्त हैं। उनमें स्वतंत्रता की चेतना के साथ देश के लिए त्याग और बलिदान की भावना मिलती है। इसीलिए उन्हें एक भारतीय आत्मा कहा जाता है। इस उपनाम से उन्होंने कविताएँ भी लिखी हैं। वे एक कवि-कार्यकर्ता थे और स्वाधीनता आंदोलन के दौरान कई बार जेल गए। उन्होंने भक्ति, प्रेम और प्रकृति संबंधी कविताएँ भी लिखी हैं। चतुर्वेदी जी कविता में शिल्प की तुलना में भाव को अधिक महत्व देते हैं। उन्होंने परंपरागत छंदबद्धता रचना के अनुकूल शब्दों का भी प्रयोग किया है।
कैदी और कोकिला कविता का परिचय दीजिए।
उत्तर: ब्रितानी उपनिवेशवाद के शोषण तंत्र का बारीक विश्लेषण करती कैदी और कोकिला कविता बहुत लोकप्रिय रही है। यह कविता भारतीय स्वाधीनता सेनानियों के साथ जेल में किए गए दुर्व्यवहारों और यातनाओं का मार्मिक साक्ष्य प्रस्तुत करती है। कवि जेल में एकाकी और उदास है। कोकिल से अपने मन का दुख, असंतोष और ब्रितानी शासन के प्रति अपने आक्रोश को व्यक्त करते हुए वह कहता है कि यह समय मधुर गीत गाने का नहीं बल्कि मुक्ति का गीत सुनाने का है। कवि को लगता है कि कोयल भी पूरे देश को एक कारागार के रूप में देखने लगी है इसीलिए अर्द्धरात्रि में चीख उठी है।
कवि की कोयल से क्या शिकायत है?
उत्तर: क्या गाती हो? क्यों रह-रह जाती हो? कोकिल बोलो तो! क्या लाती हो? संदेशा किसका है? कोकिल बोलो तो! ऊँची काली दीवारों के घेरे में, डाकू, चोरों, बटमारों के डेरे में, जीने को देते नहीं पेट-भर खाना, मरने भी देते नहीं, तड़प रह जाना! जीवन पर अब दिन-रात कड़ा पहरा है, शासन है, या तम का प्रभाव गहरा है? हिमकर निराश कर चला रात भी काली, इस समय कालिमामयी जगी क्यूँ आली?
कविता में ब्रितानी शासन की यातनाओं का वर्णन कैसे किया गया है?
उत्तर: ऊँची काली दीवारों के घेरे में, डाकू, चोरों, बटमारों के डेरे में, जीने को देते नहीं पेट-भर खाना, मरने भी देते नहीं, तड़प रह जाना! जीवन पर अब दिन-रात कड़ा पहरा है, शासन है, या तम का प्रभाव गहरा है? हथकड़ियाँ क्यों? यह ब्रिटिश राज का गहना, कोल्हू का चर्रक चूँ? जीवन की तान, गिट्टी पर अँगुलियों ने लिखे गान! हूँ मोट खींचता लगा पेट पर जूआ, खाली करता हूँ ब्रिटिश अकड़ का कुँआ।
कवि को कोयल की चीख से क्या अंदेशा हुआ?
उत्तर: क्या हुई बावली? अर्द्धरात्रि को चीखी, कोकिल बोलो तो! किस दावानल की ज्वालाएँ हैं दीखीं? कोकिल बोलो तो! कवि को लगता है कि कोयल भी पूरे देश को एक कारागार के रूप में देखने लगी है इसीलिए अर्द्धरात्रि में चीख उठी है।
कवि को कोयल से ईर्ष्या क्यों हो रही है?
उत्तर: तुझे मिली हरियाली डाली, मुझे नसीब कोठरी काली! तेरा नभ-भर में संचार, मेरा दस फुट का संसार! तेरे गीत कहावें वाह, रोना भी है मुझे गुनाह! देख विषमता तेरी-मेरी, बजा रही तिस पर रणभेरी!
कविता में ‘काली’ शब्द की आवृत्ति से क्या प्रभाव उत्पन्न होता है?
उत्तर: काली तू, रजनी भी काली, शासन की करनी भी काली, काली लहर कल्पना काली, मेरी काल कोठरी काली, टोपी काली, कमली काली, मेरी लौह-श्रृंखला काली, पहरे की हुंकृति की ब्याली, तिस पर है गाली, ऐ आली! इस काले संकट-सागर पर मरने की, मदमाती! अपने चमकीले गीतों को क्योंकर हो तैराती!
हथकड़ियों को ‘गहना’ क्यों कहा गया है?
उत्तर: क्या? देख न सकती जंजीरों का गहना? हथकड़ियाँ क्यों? यह ब्रिटिश राज का गहना, कोल्हू का चर्रक चूँ? जीवन की तान, गिट्टी पर अँगुलियों ने लिखे गान! हूँ मोट खींचता लगा पेट पर जूआ, खाली करता हूँ ब्रिटिश अकड़ का कूँआ।
कविता में कोयल के गीतों को नष्ट करने की बात क्यों कही गई है?
उत्तर: इस शांत समय में, अंधकार को बेध, रो रही क्यों हो? कोकिल बोलो तो! चुपचाप, मधुर विद्रोह-बीज इस भाँति बो रही क्यों हो? कोकिल बोलो तो! इस काले संकट-सागर पर मरने की, मदमाती! कोकिल बोलो तो! अपने चमकीले गीतों को क्योंकर हो तैराती! कोकिल बोलो तो!

Leave a Reply