भारत की जलवायु
Short Questions Answer
प्रश्न: मानसून शब्द की उत्पत्ति किस भाषा से हुई है?
उत्तर: मानसून शब्द की उत्पत्ति अरबी भाषा के ‘मौसिम’ शब्द से हुई है।
प्रश्न: भारत की जलवायु को किस नाम से जाना जाता है?
उत्तर: भारत की जलवायु को मानसूनी जलवायु कहा जाता है।
प्रश्न: गर्म वायु और ठंडी वायु में क्या अंतर होता है?
उत्तर: गर्म वायु हल्की होती है और ठंडी वायु भारी होती है।
प्रश्न: पवन किस दिशा में चलती है?
उत्तर: पवन हमेशा अधिक दाब से निम्न दाब की ओर चलती है।
प्रश्न: ग्रीष्मकालीन मानसून पवनें किस दिशा से चलती हैं?
उत्तर: ग्रीष्मकालीन मानसून पवनें दक्षिण-पश्चिम से उत्तर-पूर्व की ओर चलती हैं।
प्रश्न: शीतकालीन मानसूनी पवनें किस दिशा से चलती हैं?
उत्तर: शीतकालीन मानसूनी पवनें उत्तर-पूर्व से दक्षिण-पश्चिम दिशा में चलती हैं।
प्रश्न: भारत की जलवायु को प्रभावित करने वाले तीन प्रमुख कारक कौन-से हैं?
उत्तर: भारत की भौगोलिक स्थिति, धरातलीय स्वरूप और प्रचलित पवनें।
प्रश्न: भारत में कौन-कौन सी चार ऋतुएँ होती हैं?
उत्तर: शीत ऋतु, ग्रीष्म ऋतु, वर्षा ऋतु और शरद ऋतु।
प्रश्न: भारत में सर्वाधिक वर्षा कहाँ होती है?
उत्तर: मेघालय राज्य के चेरापूंजी और मॉसिमराम में।
प्रश्न: जब तापमान 5°C से भी कम हो जाता है, उस समय चलने वाली ठंडी हवा को क्या कहते हैं?
उत्तर: उसे शीत लहर कहते हैं।
Long Questions Answer
प्रश्न: भारत की जलवायु को मानसूनी क्यों कहा जाता है?
उत्तर: क्योंकि भारत में पवनों की दिशा ऋतु परिवर्तन के साथ बदलती रहती है।
ग्रीष्म ऋतु में पवनें समुद्र से स्थल की ओर और शीत ऋतु में स्थल से समुद्र की ओर चलती हैं।
इन मौसमी पवनों के कारण भारत की जलवायु मानसूनी कहलाती है।
प्रश्न: भारत में मानसून की उत्पत्ति किस प्रकार होती है?
उत्तर: ग्रीष्म ऋतु में उत्तर भारत में तापमान बढ़ने से निम्न दाब क्षेत्र बनता है, जबकि हिंद महासागर में अधिक दाब होता है।
इस कारण पवनें समुद्र से स्थल की ओर चलती हैं, जिससे वर्षा होती है।
शीत ऋतु में यही पवनें दिशा बदलकर स्थल से समुद्र की ओर चलती हैं।
प्रश्न: भारत की जलवायु को प्रभावित करने वाले प्रमुख कारक कौन-कौन से हैं?
उत्तर:
- भौगोलिक स्थिति: भारत 8.4° से 37.6° उत्तरी अक्षांशों के बीच स्थित है और तीन ओर से समुद्र से घिरा है।
- धरातलीय स्वरूप: हिमालय पर्वत ठंडी हवाओं को रोककर देश को ठंड से बचाता है।
- प्रचलित पवनें: मौसमी पवनें ताप और वर्षा को नियंत्रित करती हैं।
प्रश्न: भारत की चारों ऋतुओं का संक्षिप्त वर्णन कीजिए।
उत्तर:
- शीत ऋतु (15 दिसम्बर–15 मार्च): ठंडी और शुष्क पवनें उत्तर-पूर्व से चलती हैं।
- ग्रीष्म ऋतु (15 मार्च–15 जून): तापमान बढ़ता है और गर्म हवाएँ (लू) चलती हैं।
- वर्षा ऋतु (15 जून–15 सितम्बर): दक्षिण-पश्चिम मानसून से वर्षा होती है।
- शरद ऋतु (15 सितम्बर–15 दिसम्बर): लौटती हुई मानसूनी पवनें तमिलनाडु के तट पर वर्षा करती हैं।
प्रश्न: शीत ऋतु की विशेषताएँ लिखिए।
उत्तर:
- सम्पूर्ण उत्तरी भारत शीत लहर की चपेट में रहता है।
- पश्चिमी चक्रवातों से उत्तर-पश्चिम भारत में थोड़ी वर्षा होती है।
- बंगाल की खाड़ी से लौटती मानसूनी पवनें तमिलनाडु में वर्षा करती हैं।
प्रश्न: ग्रीष्म ऋतु की प्रमुख विशेषताएँ क्या हैं?
उत्तर:
- इस ऋतु में तापमान बहुत अधिक बढ़ जाता है।
- दोपहर में चलने वाली गर्म वायु को ‘लू’ कहा जाता है।
- इस ऋतु के अंत में दक्षिण-पश्चिम मानसून आने लगता है।
प्रश्न: वर्षा ऋतु की विशेषताएँ लिखिए।
उत्तर:
- यह ऋतु जून से सितम्बर तक रहती है।
- इस समय दक्षिण-पश्चिम मानसूनी पवनें पूरे देश में फैल जाती हैं।
- भारत में अधिकांश वर्षा इसी अवधि में होती है।
प्रश्न: वर्षा का वितरण भारत में कैसा है?
उत्तर: भारत में वर्षा का वितरण असमान है।
पश्चिमी घाट और उत्तर-पूर्वी भारत में वर्षा 300 से.मी. से अधिक होती है।
राजस्थान और कारगिल क्षेत्र में बहुत कम वर्षा होती है, जबकि मेघालय के चेरापूंजी में सर्वाधिक वर्षा होती है।
प्रश्न: भारतीय जलवायु की प्रमुख विशेषताएँ क्या हैं?
उत्तर:
- भारत की जलवायु पूर्णतः मानसूनी है।
- अधिकांश वर्षा जून से सितम्बर के बीच होती है।
- वर्षा का वितरण असमान है — कहीं अधिक तो कहीं बहुत कम।
- जलवायु भारतीय जनजीवन को गहराई से प्रभावित करती है।
प्रश्न: ‘लौटता मानसून’ क्या है और इसका क्या प्रभाव होता है?
उत्तर: मानसून के दक्षिण की ओर लौटने पर चलने वाली हवाओं को लौटता मानसून कहा जाता है।
ये हवाएँ बंगाल की खाड़ी से नमी लेकर तमिलनाडु के तट पर वर्षा कराती हैं।

Leave a Reply